Humbistari Ki Dua In Hindi | हमबिस्तरी की दुआ हिंदी में

Humbistari Ki Dua in Hindi: – दोस्तों जैसा कि ☪ इस्लाम में हर एक काम को करने से पहले की कोई न कोई 🤲 दुआ और तरीका होता है।

तो ठीक बैसे ही जब कोई शादीशुदा 👩🏽‍🤝‍👨🏻मिया-बीबी शोहबत करने जाते हैं तो उसके लिए भी Humbistari Ki Dua होती है।

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अगर आप नहीं जानते कि हमबिस्तरी करने से पहले कौन सी दुआ को पढ़ा जाता है तो परेशान होने की कोई जरूरत नहीं है।

इस पोस्ट में हमने अच्छे से Humbistari Ki Dua और उसका तर्जुमा बताया है। आप आसानी से हिंदी में इस दुआ को पढ़ सकते हैं।

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हमबिस्तरी की दुआ | Humbistari ki dua in hindi

जैसा कि हदीस में है

۞रसुलअल्लाह (ﷺ) ने फ़रमाया: – “जब कोई शख्स अपनी बीवी के पास आता है (यानी हमबिस्तरी का ईरादा करता है) और ये दुआ पढ़ता है।

फिर अगर उनके यहाँ बच्चा पैदा होता है तो शैतान उसे कोई नुक़सान नही पहुंचा सकता।”

हमबिस्तरी की दुआ हिंदी में

❝ बिस्मिल्लाही अल्लाहुम्मा जन्निबनश-शैताना वा जन्नीबिश-शैताना मा रज़कताना ❞

तर्जुमा: – अल्लाह के नाम से शुरू करता हूँ, अए अल्लाह! हमसे शैतान को दूर रख और जो कुछ हमे तू (औलाद) दे उस से भी शैतान को दूर रख।

हमबिस्तरी की दुआ अरबी में

بِسْمِ اللَّهِّ اللَّهُمَّ جَنِّبْنَا الشَّيْطَانَ وَجَنِّبِ الشَّيْطَانَ مَا رَزَقْتَنَا

اللہ کے نام سے شروع کرتا ہوں، اے اللہ ہمیں شیطان سے محفوظ فرما اور جو اولاد ہمیں دے شیطان کو اس سے دور رکھ

[ सहीह बुखारी #3271 ]

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सोहबत का मतलब | Humbistari Ki Dua

सोहबत (صحبت) मतलब कि शोहर और बीवी के बीच जिन्सी मेल-मिलाप या जिस्मानी राबता होता है।

सोहबत एक उर्दू लफ्ज़ है, जिसको हमबिस्तरी (ہم بستری), मुबाशरत (مباشرت),

अरबी में जिमा या अल-जिमा (جماع/الجماع), और हिंदी में संभोग तथा इंग्लिश में Intercourse or Copulation भी कहा जाता है ।


हमबिस्तरी की दुआ से फायदा | Humbistari Ki Dua Ka Fayda

हुजूर नबी करीम सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम ने फरमाया, “ये दुआ पढ़ने के बाद अगर अल्लाह उनको औलाद से नवाजेगा तो शैतान वगैरा उनको कभी नुक्सान नहीं पहोचाएंगे”।

📌 नोट: - ये याद रखिये कि जो पेशानी के बाल पकड़ कर दुआ करना है वो सिर्फ पहली रात में ही पढ़ना है, और एक ही बार पढ़ना है, लेकिन ये वाली दुआ आपको हमेशा पढ़ना है, जब भी बीवी के साथ सोने का इरादा हो, उससे पहले इस दुआ को पढ़ना जरूरी है।

एक हदीस में आता है कि

हज़रत इब्ने अब्बास रदियल्लाहु अन्हु से रिवायत है कि हुज़ूर सल्ललाहो अलैहि वसल्लम ने इरशाद फ़रमाया,

“जो शख्स इस दुआ (दुआ वही जो ऊपर लिखी है) को सोहबत के वक्त पढ़ेगा,

तो अल्लाह पढ़ने वाले को अगर औलाद अता फरमायेगा, तो औलाद को शैतान कभी भी नुक्सान न पहुँचायेगा।

[बुखारी शरीफ जिल्द 3, सफा 85, तिर्मिज़ी शरीफ, जिल्द 1, सफा 557]


मनी निकलते वक़्त की दुआ | Mani Nikalte Waqt ki Dua)

जिस वक्त मर्द की मनी उसके उजू-ए-तनासुल से निकल कर औरत की शर्मगाह में दाखिल होने लगे उस वक्त दिल ही दिल में ये दुआ पढ़े

“अल्लाहुम्मा-ला-तजाअल लिश शैतानि फि-म-रज़कतनि नसी-बा”

तर्जुमा : – “ऐ अल्लाह! शैतान के लिए हिस्सा न बना उसमें, जो (औलाद) तू हमें अता करे।”

[हिस्ने हसीन सफ़ा 165, फ़तवा-ए-रज़विया जिल्द 9, सफ़ा 161]

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सोहबत या हमबिस्तरी से जुड़ी हदीस | Humbistari se Judi Hadees

यहाँ नीचे हमने हमबिस्तरी से जुड़ी कुछ हदीस बताई हैं, उम्मीद है आप इनको जरूर पढेंगे।

हदीस नंबर 1: –

📑 हज़रत इब्ने अब्बास रदीअल्लाहो अन्हु से रिवायत हे कि, हुज़ूर सल्ललाहो अलैहि वसल्लम ने इरशाद फरमाया,

गवाहो के बगैर निकाह करने वाली औरते जानिया (ज़िना करने वाली) हैं। [तिर्मिज़ी शरीफ़, जिल्द: 1, सफ़ा: 563, हदीस नं. .751]

हदीस नंबर 2: –

📑 2. जिस किसी ने सोहबत की बात लोगो में बयान की उसकी मिसाल ऐसी ही है जैसे शैतान औरत, शैतान मर्द से मिले और लोगो के सामने ही खुले आम सोहबत करने लगे।

[अबू दाऊद, जिल्द : 2, हदीस नं. 407, सफा : 155, बाब नं. 127]

हदीस नंबर 3: –

📑 3. आका सल्ललाहो अलैहि वसल्लम ने इरशाद फरमाया,

अल्लाह की लानत बड़ी निगाहें करने वाले पर और जिसकी तरफ़ बड़ी निगाहैं की जाएँ। [बहकी शरीफ, मिश्कत शरीफ, जिल्द:2, सफा:77]

हदीस नंबर 4: –

📑 4. हुजूर सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम ने इरशाद फरमाया,

“तुम में से जो अपनी बीवी के पास जाए तो परदा कर ले और गधे की तरह ना शुरू हो जाए।” [इब्ने माजा, जिल्द 1, सफा 538, हदीस संख्या-1990, बाब संख्या-616]

हदीस नंबर 5: –

📑 5. उम्मुल मोमिनीन हज़रत आयशा सिद्दीक़ा रदियल्लाहु अन्हा से रिवायत हे कि हुज़ूर सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम ने इरशाद फ़रमाया,

“जो मर्द अपनी बीवी का हाथ उसे बेहलाने के लिए पकड़ता है, अल्लाह तआला उसके लिए 1 नेकी लिख देता है।

जब मर्द प्यार से औरत के गले में हाथ डालता है, उसके हक में 10 नेकियाँ लिखी जाती हैं,

और जब औरत से सोहबत करता है तो दुनिया और जो कुछ उसमे है उन सबसे बेहतर हो जाता है। [घुनयात उत तालिबीन सफ़ा-113]

हदीस नंबर 6: –

📑 6. हज़रत मुहम्मद (सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम) ने फरमाया “पखाने की जगह में औरत से सोहबत करना हराम है”।

मदनी आका हजरत मुहम्मद (सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम) ने फरमाया,

“जिसने औरत या मर्द से उसके पीछे के मुकाम से सोहबत की उसे यकीनन कुफ्र किया”। [अबू दाऊद शरीफ]

हदीस नंबर 7: –

📑 7. हजरत मुहम्मद (सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम) ने फरमाया, अल्लाह कयामत के दिन ऐसे शख्स की तरफ नजरे रहमत नहीं फरमाएगा।

जिसने अपनी औरत के पीछे के रास्ते से सोहबत की। [बुखारी शरीफ, तिर्मिज़ी शरीफ, इब्न माजाह शरीफ]

आखिरी शब्द

तो दोस्तों जैसा कि हमने ऊपर पढ़ा कि Humbistari Ki Dua को पढ़कर ही मियां-बीबी को सोहबत करनी चाहिए, जिससे आपकी होने बाली औलाद शैतान से महफूज़ रहेगी।

दोस्तों अगर हमसे इस पोस्ट में लिखने में कोई गलती हो गयी हो या आपका कोई सवाल हो तो आप हमें कमेंट करके बता सकते हैं।

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