Juma Ki Namaz Ka Tarika Hindi Me | जुमा की नमाज़ का तरीका

दोस्तों, अगर जुमा की नमाज़ पढ़ लेते हैं, लेकिन आप 🧎🏽 Juma Ki Namaz Ka Tarika सही-सही क्या है, यह नहीं जानते, तो आप हमारी यह पोस्ट पूरी पढ़ें।

jumma ki namaz ka tarika red, green and blue text written with praying man logo

जैसा की आप सभी ने हमारी पिछली पोस्ट में जुमा की नमाज़ की रकातों को तो पढ़ा ही होगा।

अगर नहीं पढ़ा है तो अभी पढ़ें और जानें: – जुमा की नमाज़ की रकात कितनीं हैं?

इस पोस्ट में हमने जुमा की नमाज़ पढ़ने का तरीका पूरी डिटेल में बताया है।

इंशाअल्लाह, आपको जुमा की नमाज़ का तरीका अच्छे से समझ आ जायेगा।

जुमा की नमाज़ का तरीका जानने से पहले यह जरूर जानें कि औरतों के लिए जुमा की नमाज़ पढ़नी होती है कि नहीं?


जुमा की नमाज़ औरतों की | Juma Ki Namaz Ka Tarika

🧕 औरतों के लिए जुमा की नमाज की जगह जोहर की नमाज़ पढ़ने का हुक्म है।

ऐसा इसलिए है क्यूंकि कुछ नमाजें बगैर जमात के पूरी नहीं हो सकती हैं। जिनमें से जुमा की नमाज़ भी बिना जमात पूरी नहीं हो सकती है।

तो औरतों के लिए चाहिए कि जुम्मे के दिन जोहर के वक़्त में जुहर की नमाज़ मुकम्मल करें।

➡️ क्या आप जोहर की नमाज़ पढ़ना जानते हैं: – Zohar Ki Namaz Ka Tarika Hindi Me


जुमा की नमाज़ का तरीका | Juma Ki Namaz Ka Tarika

आपको मालूम ही है कि जुम्मा की नमाज़ में 14 रकात होती हैं, जिनमें से 4 सुन्नत, 2 फ़र्ज, 4 सुन्नत, 2 सुन्नत और 2 नफिल नमाज़ होती है।

यहाँ हम सभी 14 रकत को पढ़ने का तरीका सीखेंगे।


➤ juma ki 4 Sunnat Namaz Padhne Ka Tarika

दोस्तों, जुमा की नमाज़ को पढ़ने के लिए आप मस्जिद जाते हैं तो सबसे पहले आपको 4 सुन्नत नमाज़ अदा करनी होती है।

जिसका तरीका कुछ इस तरह होता है।

पहली रकात सुन्नत | Juma Ki Namaz Ka Tarika

👉 1. सबसे पहले आपको नियत करनी है। अगर आप जुमा की नमाज़ की नियत का तरीका नहीं जानते हैं तो आप हमारी यह पोस्ट पढ़ें।


जुमा की नमाज़ की नियत का तरीका

👉 2. जब आप तकबीर (अल्लाहु-अकबर) कहेंगे उस वक़्त हमें हाथ बाँध लेना है, और फिर सबसे पहले हम सना पढ़ेंगे।

सना इस तरह पढ़ना है “सुबहाना कल्ला हुम्मा व बिहम्दिका व तबारा कस्मुका व त’आला जद्दुका वला इलाहा गैरुका“

👉 3. इसके बाद अउजू बिल्लाहि मिनश शैतान निर्रजिम, बिस्मिल्लाही र्रहमानिर रहीम पढेंगे।

👉 4. यह पढ़ने के बाद सूरह फातिहा पढेंगे और सूरह फातिहा के बाद क़ुरान शरीफ की कोई भी सूरत जो आपको याद हो वो पढेंगे।

👉 5. जब आप सूरह को पूरी पढ़ लेंगे, तब अल्लाहु-अकबर (Takbeer) कहते हुए रुकू में जायेंगे।


रुकू करने का तरीका

आप रुकू में अपने हाथों की उँगलियों से घुटनों को मजबूत पकड़ लेंगे।

और उंगलियाँ को घुटनों पर फैला कर रखेंगे और इतना झुकेंगे कि आपका सिर और कमर बराबर हो जायें।

रुकू की हालत में ही अल्लाह की तस्बीह सुबहान रब्बी अल अज़ीम 3 या 5 या 7 बार इत्मीनान के साथ पढेंगे।

आपको ख्याल रहे कि रुकू में निगाहें पैरो के अंगूंठो पर रहें।

👉 6. इसके बाद आपको समीअल्लाहु लिमन हमीदह कहते हुए रुकू से खड़े हो जाना है।

खड़े होने के बाद रब्बना व लकल हम्द कहेंगे और फिर अल्लाहु-अकबर कहकर सज्दे में जायेंगे।


सजदा करने का तरीका

सजदे में जाते वक़्त आप सबसे पहले हाथ घुटनों पर रखेंगे और फिर अपने घुटने जमीन पर टिकाएंगे, उसके बाद हाथ जमीन पर रखकर अपनी नाक जमीन पर टेकेंगे।

नाक जमीन पर टेंकने के बाद आप अपनी पेशानी जमीन पर जमाएंगे, और अपने चेहरे को दोनों हाथों के दरमियान रखेंगे।

मर्द अपने हाथों की हथेलियों को ही जमीन पर जमायिंगे और कोहनी वगैरह ऊँची उठी रखेंगे।

मर्दों को इस बात का ख्याल रखना है कि उनका पेट उनकी जांघों से न छुए।

यानी पेट को अपनी रानो से दूर रखना है और दोनों पांव की उँगलियो के पेट क़िब्ला रुख ज़मीन पर जमे रखना है।

👉 7. सज्दे में जाने के बाद आप अल्लाह की तस्बीह सुबहान रब्बी अल आला, 3 या 5 या 7 मर्तबा इत्मीनान के साथ पढेंगे।

👉 8. फिर अल्लाहु-अकबर कहते हुए सजदे से उठकर सीधे बैठ जायेंगे।

जब सजदे से उठकर बैठेंगे तो सीधे पैर की उंगलिया हिलनी नहीं चाहिए मतलब क़िबला रुख ही मुड़ी हुई रहे और उलटे पैर को सीधे पैर की जानिब मोड़ के बैठें।

👉 9. फिर दोबारा अल्लाहु अकबर कहते हुए सज्दे में जायेंगे।

अब आपको यहाँ फिर से उलटे पैर की ऊँगलीया क़िब्ला रुख करनी हैं।

👉 10. सज्दे में आप फिर से अल्लाह की वही तस्बीह सुबहान रब्बी अल आला 3 या 5 या 7 बार पढेंगे।

इस तरह आपकी एक (1 ) रकअत पूरी हो जाएगी।

➡️ क्या आप फजर की नमाज़ पढ़ना जानते हैं: – Fajar Ki Namaz Ka Tarika Hindi Me


दूसरी रकात सुन्नत

👉 12. फिर अल्लाहु अकबर कहते हुए आप दूसरी रकात के लिए खड़े हो जाएंगे और अपने हाथ बांध लेंगे।

फिर से आप अल्हम्दु शरीफ पढ़ेंगे उसके बाद कुरआन की कोई भी सूरत जो आपको याद हो वो पढ़ेंगे।

फिर से वही अल्लाहु अकबर कहते हुए रुकू में जाएंगे।

फिर *समीअल्लाहु लिमन हमीदह * कहते हुए रुकू से खड़े हो जायेंगे।

इसके बाद “रब्बना व लकल हम्द” कहेंगे, और फिर अल्लाहु-अकबर कहते हुए सज्दे में जायेंगे।

👉 13. सज्दे में फिर से अल्लाह की तस्बीह सुबहान रब्बी अल आला 3 या 5 या 7 बार पढेंगे।

👉 14. फिर अल्लाहु-अकबर कहकर सजदे से उठकर बैठ जायेंगे और फिर दोबारा अल्लाहु अकबर कहते हुए सज्दे में जायेंगे।

सज्दे में आप फिर से अल्लाह की वही तस्बीह सुबहान रब्बी अल आला 3 या 5 या 7 बार पढेंगे।

फिर अल्लाहु अकबर कहते हुए बैठ जायिंगे। ( बैठने का तरीका पहली रकअत जैसा ही है।) अब बैठे हुए ही आप अत्तहिय्यात पढेंगे।

अत्तहिय्यात: –

“अत्ताहियातु लिल्लाहि वस्सलवातु वत्तैयिबातू अस्सलामु अलैका अय्युहन नबिय्यु व रहमतुल्लाही व बरकताहू अस्सलामु अलैना व अला इबादिल्लाहिस सालिहीन अशहदु अल्ला इलाहा इल्ललाहू व अशहदु अन्न मुँहम्मदन अब्दुहु व रसुलहू”

📌 नोट: - अशहदु अल्ला {ला} पर सीधे हाथ की शहादत की ऊँगली इस तरह उठाना है कि अंगूठा और बीच की सबसे बड़ी वाली उंगली के पेट दोनों को आपस में मिलाना है, और शहादत की ऊँगली ऊपर करना है।

तीसरी रकात सुन्नत

👉 16. जब आप पूरी अत्तहिय्यात पढ़ लेंगे तब आप तीसरी रकअत के लिए खड़े हो जाएंगे।

📌 नोट: - अगर आपने गलती से अत्तहिय्यात के बाद दरूद शरीफ या दुआ पढ़ ली और आपको तीसरी रकत का पढ़ना याद आ गया तो सजदा सहु करना होगा।

👉 17. तीसरी रकात भी आपको पहली रकात की तरह पढ़ना है।


चौथी रकात सुन्नत

👉18. जब चार रकअत पूरी हो जाए तो फिर से अत्तहिय्यात, दरूद और दुआ ए मसुरा पढ़ेंगे और सलाम फेरेंगे।

जब आप पहला सलाम फेरेंगे तो पहले सीधे कंधे की तरफ निगाहें झुकी हुई रहेंगी।

उसके बाद फिर बायीं तरफ यानी उलटे कंधे की जानिब निगाहें रखकर सलाम फेरेंगे।

सलाम के अल्फ़ाज़ इस तरह होंगे: – अस्सलामो अलैकुम व रहमतुल्लाह

इस तरह आपकी जुम्मा की चार रकाअत सुन्नत नमाज़ मुकम्मल हो जायेगी।

➡️ क्या आप असर की नमाज़ पढ़ना जानते हैं: – Asar Ki Namaz Ka Tarika Hindi Me


➤ जुमा की 2 फ़र्ज नमाज़ पढ़ने का तरीका

दोस्तों, याद रहे जुम्मा की नमाज़ घर पर नहीं पढ़ी जाती है। जुम्मा की नमाज़ इमाम साहब के पीछे जमात के साथ पढ़ी जाती है।

तो आईये जुमा की 2 फ़र्ज नमाज़ पढ़ने का तरीका सीख लें।


जुमा की पहली फ़र्ज रकात नमाज़ | Jumma Ki Farz Namaz Ka Tarika

Step-1 नियत करना
  1. सबसे पहले आपको 2 रकात फ़र्ज नमाज़ की नियत करना है जिसका तरीका हमने अपनी दूसरी पोस्ट में बताया है उसे पढ़ें।
  2. इमाम साहब जब अल्लाहु अकबर कहकर हाथ बांध लें, तब आपको भी नियत करके हाथ बाँध लेना है।
Step-2 सना पढ़ना
  1. जब आप हाथ बांध लेंगे उसके बाद आपको मन ही मन में सना पढ़नी है।
  2. फिर बिस्मिल्लाह शरीफ पढ़कर चुप हो जाना है और इमाम साहब जो भी तिलावत करेंगे, उसे दिल लगाकर सुन्ना है।
  3. इमाम साहब सूरह फातिहा की तिलावत करेंगे और उसके बाद कोई भी क़ुरान शरीफ की सूरत पढ़ेंगे।
Step-3 रुकू करना
  1. फिर जैसे ही इमाम साहब अल्लाहु अकबर कहकर रुकू में जायेंगे तो उसके बाद हम भी रुकू में चले जाएंगे।
  2. फिर इमाम साहब “समीअल्लाहु लिमन हमीदह” कहकर रुकू से खड़े हो जाएंगे, तो हमें भी ‘रब्बना व लकल हम्द’ ( मन में) कहते हुए रुकू से खड़े हो जाना है।
Step-4 सजदा करना
  1. रुकू करने के बाद इमाम साहब अल्लाहु अकबर कहते हुए सजदे में जाएंगे, तो उनके पीछे-पीछे हमें भी सजदे में जाना है।
  2. हम आहिस्ता से सजदे की तस्बीह पढेंगे, फिर इमाम साहब अल्लाहु अकबर कहकर बैठेंगे, तब हमें भी बैठ जाना है।
  3. दूसरी बार फिर इमाम साहब अल्लाहु अकबर कहते हुए सजदे में जाएंगे, तो उनके पीछे-पीछे हमें भी सजदे में जाना है।
  4. और सजदे की तस्बीह पढ़ना है। फिर इमाम साहब अल्लाहु अकबर कहते हुए खड़े हो जाएंगे, तब हमें भी खड़े हो जाना है।
  5. इस तरह जुमा की फ़र्ज नमाज़ की एक रकात पूरी हो जायेगी, और इसी तरह हमें दूसरी रकअत भी पूरी करना है।

➡️ क्या आप मग़रिब की नमाज़ पढ़ना जानते हैं: – Maghrib Ki Namaz Ka Tarika Hindi Me


जुमा की दूसरी फ़र्ज रकात नमाज़ | Juma Ki Farz Namaz Ka Tarika

  1. इमाम साहब फिर से सूरह फातिहा पढ़ेंगे और सुरह फातिहा के बाद कोई भी क़ुरान शरीफ की सूरत पढ़ेंगे, जिसे हमें गौर से सुन्ना है ।
  2. फिर जैसे ही इमाम साहब अल्लाहु अकबर कहके रुकू में जायेंगे, हम भी रुकू में चले जाएंगे।
  3. फिर इमाम साहब ‘समीअल्लाहु लिमन हमीदह’ कहते हुए रुकू से खड़े हो जाएंगे, तब हमें भी ‘रब्बना व लकल हम्द ( मन में ) कहते हुए खड़े हो जाना है।
  4. फिर इमाम साहब अल्लाहुअकबर कहते हुए सजदे में जाएंगे तो उनके पीछे-पीछे हमें भी सजदे में जाना है।
  5. हम आहिस्ता से सजदे की तस्बीह पढेंगे, फिर अल्लाहुअकबर कहके इमाम साहब बैठेंगे, तो हमें भी बैठ जाना है।
  6. दूसरी बार फिर इमाम साहब अल्लाहुअकबर कहते हुए सजदे में जाएंगे तो उनके पीछे पीछे हमें भी सजदे में जाना है।
  7. और सजदे की तस्बीह पढ़ना है। उसके बाद इमाम साहब अल्लाहु अकबर कहते हुए अत्तहिय्यात में बैठ जाएंगे, तो हमें भी अत्तहिय्यात में बैठ जाना है।
  8. फिर हम मन में अत्तहियात पढेंगे, उसके बाद दरूदे इब्राहीम पढ़ेंगे और दुआ ए मसुरा पढेंगे।
  9. उसके बाद जब इमाम साहब सलाम फेरेंगे, तब हमें भी सलाम फेर लेना है।
  10. इस तरह आपकी जुम्मा की, दो रकआत फ़र्ज नमाज़, इमाम साहब के पीछे पूरी मुकम्मल हो जाएँगी।
📌 नोट: - हमें यह याद रहे कि जब हम इमाम साहब के पीछे नमाज़ पढ़ रहे हों तो कोई भी नमाज़ का अरकान इमाम साहब से पहले अदा ना करें। इमाम के पीछे का मतलब ही यही होता है इमाम साहब अदा कर ले उसके बाद ही हमें अदा करना है।

इसके बाद इमाम साहब दुआ करेंगे। इमाम साहब के साथ हम भी दुआ करेंगे।

2 रकात फ़र्ज नमाज़ अदा करने के बाद अब बाकी की बची नमाज़ हमें अपने आप पढ़नी हैं।


➤ जुमा की 4 रकात सुन्नत नमाज़ का तरीका

जब हम 2 रकात फ़र्ज नमाज़ पढ़ लेंगे तब हमें चार रकात सुन्नत नमाज़ दोबारा से पढ़नी हैं।

4 रकात सुन्नत नमाज़ पढ़ने का तरीका ऊपर बताये गए तरीके के जैसा ही है।

जब आप चार रकात सुन्नत नमाज़ पढ़ लेंगे उसके बाद आपको 2 रकात सुन्नत नमाज़ पढ़नी हैं।


➤ जुमा की 2 रकात सुन्नत नमाज़ का तरीका

सुन्नत नमाज़ पढ़ने का कुछ इस तरह से है कि सबसे पहले हम 2 रकात सुन्नत नमाज़ की नियत करनीं है।

फिर अल्लाहु-अकबर कहकर हमें हाथ बाँध लेना है। फिर सबसे पहले हम सना पढ़ेंगे।

इसके बाद अउजू बिल्लाहि मिनश शैतान निर्रजीम बिस्मिल्लाहि र्रहमानिर रहीम पढ़ेगे।

इतना पढ़ने के बाद दोनों रकअतों में सूरह फातिहा पढ़ने के बाद क़ुरान शरीफ की कोई भी सूरत जो आपको याद हो वो पढ़ेगे।

और हर रकात में एक-एक रुकू और 2-2 सजदे करना है। रुकू और सजदा करने का तरीका पहली नमाज़ों के जैसा ही है।

जब आप दूसरी रकात में 2 सजदे कर लेंगे तब आप अत्तहिय्यात में बैठकर, अत्ताहियत, दरूद शरीफ और दुआ ए मसुरा पढेंगे और सलाम फेरे लेंगे।

इस तरह आप 2 रकत सुन्नत नमाज़ पूरी हो जायेंगी। अब आपको 2 रकत नफिल नमाज़ पढ़नी है।

➡️ क्या आप ईशा की नमाज़ पढ़ना जानते हैं: – Isha Ki Namaz Ka Tarika Hindi Me


➤ जुमा की 2 रकात नफिल नमाज़ का तरीका

नफिल नमाज़ पढ़नें का तरीका भी ठीक 2 रकात सुन्नत नमाज़ के जैसा ही है।

  • सबसे पहले नफिल नमाज़ की नियत करेंगे।
  • फिर अल्लाहु-अकबर कहकर हमें हाथ बाँध लेना है।
  • फिर जिस तरह दो सुन्नत पढ़ी थी वैसे ही दो रकअत नफ़्ल पूरी करेंगे।

और इस तरह जुमा की 14 रकआत नमाज़ मुकम्मल हो जाएगी।


आखिरी शब्द

तो दोस्तों, हमने इस पोस्ट में जाना कि जुमा की नमाज़ किस तरह पढ़ी जाती है।

दोस्तों, अगर इस Juma Ki Namaz Ka Tarika पोस्ट को लिखने में हमसे कोई गलती हुई हो, तो आप हमें कमेंट करके बता सकते हैं,

जिससे की हम उस गलती को जल्द से जल्द ठीक कर सकें।

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